सुनीता की पहिया कुर्सी
रावल, मधु (2021) सुनीता की पहिया कुर्सी पाठशाला भीतर और बाहर, 8. pp. 20-27.
Fulltext Document
सुनीता की पहिया कुर्सी.pdf Download (416kB) |
Introduction
एनसीएफ़ 2005 और शिक्षाविद अर्थपूर्ण सीखने के लिए पाठ्यवस्तु के जीवन से जुड़ाव पर ज़ोर देते हैं। एनसीईआरटी द्वारा विकसित की गई किताबें इसके लिए पर्याप्त अवसर बनाती हुई दिखती हैं। पाठ्यपुस्तक तो फिर भी एक ज़रिया ही है, कक्षा के अन्दर जीवन के अनुभवों को जगह देने का काम तो शिक्षक ही कर सकते हैं । प्रस्तुत आलेख रिमझिम पाठ्यपुस्तक के एक पाठ ‘सुनीता की पहिया कुर्सी’ के माध्यम से बच्चों के बीच सार्थक संवाद, जीवन अनुभवों से जुड़ाव बनाने के अवसर और फिर उसपर आधारित रचनात्मक लेखन तक की प्रक्रिया का अनुभव है।
Item Type: | Article |
---|---|
Discipline: | Education |
Programme: | University Publications > Pathshala Bheetar Aur Baahar |
Creators(English): | Madhu Rawal |
Publisher: | Azim Premji University |
Journal or Publication Title(English): | Paathshala Bheetar aur Bahar |
URI: | http://anuvadasampada.azimpremjiuniversity.edu.in/id/eprint/2216 |
Edit Item |
Disclaimer
Translated from English to Hindi/Kannada by Translations Initiative, Azim Premji University. This academic resource is intended for non-commercial/academic/educational purposes only.
अनुवाद पहल, अज़ीम प्रेमजी विश्वविद्यालय द्वारा अँग्रेज़ी से हिन्दी में अनूदित। इस अकादमिक संसाधन का उपयोग केवल ग़ैर-व्यावसायिक, अकादमिक एवं शैक्षिक उद्देश्यों के लिए किया जा सकता है।
ಅಜೀಂ ಪ್ರೇಮ್ಜಿ ವಿಶ್ವವಿದ್ಯಾಲಯದ ಅನುವಾದ ಉಪಕ್ರಮದ ವತಿಯಿಂದ ಇದನ್ನು ಇಂಗ್ಲೀಷ್ನಿಂದ ಕನ್ನಡಕ್ಕೆ ಅನುವಾದಿಸಲಾಗಿದೆ. ಈ ಶೈಕ್ಷಣಿಕ ಸಂಪನ್ಮೂಲವನ್ನು ವಾಣಿಜ್ಯೇತರ, ಶೈಕ್ಷಣಿಕ ಉದ್ದೇಶಗಳಿಗೆ ಬಳಸಬಹುದಾಗಿದೆ.